Wednesday, April 11, 2012

Rajasthan Highcourt Seeks Clarification from Rajasthan State Government Advocate General


तृतीय श्रेणी शिक्षक भर्ती परीक्षा पर प्रश्न 
(Rajasthan Highcourt Seeks Clarification from Rajasthan State Government Advocate General )

Grade 3rd / IIIrd Teachers Recruitment from RTET passed candidates -
जयपुर। तृतीय श्रेणी शिक्षक भर्ती के लिए ऑनलाइन आवेदन की प्रक्रिया तो मंगलवार को पूरी हो गई, मगर इस परीक्षा पर उठ रहे सवाल अब अदालत की चौखट तक जा पहुंचे। हाईकोर्ट ने तृतीय श्रेणी शिक्षक भर्ती राजस्थान लोक सेवा आयोग (आरपीएससी) के बजाय जिला परिषद से कराने के मामले में महाधिवक्ता के जरिए राज्य सरकार से जवाब मांगा है। न्यायाधीश नरेन्द्र कुमार जैन-प्रथम और न्यायाधीश मीना वी गोम्बर की खण्डपीठ ने दीपेन्द्र कुमार शर्मा व 61 अन्य की याचिका पर यह अंतरिम आदेश देते हुए सुनवाई 11 अप्रेल तक टाल दी। प्रार्थीपक्ष के अधिवक्ता विज्ञान शाह ने कोर्ट को बताया कि पंचायती राज कानून के तहत भर्ती संविधान के अनुच्छेद 14 के विपरीत है।


याचिका में यह दलीलें -
 जिला स्तर पर भर्ती होने से एक जिले में ज्यादा अंक लाने पर भी अभ्यर्थियों के नियुक्ति से वंचित होने के पूर्ण आसार हैं, क्योंकि इस भर्ती में पदों की संख्या जिलेवार तय की गई है। 
 अभ्यर्थियों को गृह जिला छोड़ दूसरों जिलों में जाना होगा, इसके बावजूद एक जिले के लिए परीक्षा दी जा सकेगी।
 भर्ती में राज्य सरकार को दखल का अधिकार भी रहेगा

विधायक ने दिया इस्तीफा
भर्ती आरपीएससी से करवाने की मांग पर सदन में जमकर हंगामा हुआ। मांग उठाने वालों में सिर्फ विपक्ष ही नहीं सत्ता पक्ष के मंत्री भी थे। कांग्रेसी विधायक श्रवण कुमार ने विस अध्यक्ष को इस्तीफा भी सौंप दिया। हंगामा आधा घंटे चला और दोनों पक्षों ने शिक्षा मंत्री बृजकिशोर शर्मा से जवाब देने की मांग की। कांग्रेस विधायक श्रवण कुमार ने भर्ती परीक्षा जिला परिषदों से करवाने के फैसले के खिलाफ मंगलवार को सदन में विस अध्यक्ष को इस्तीफा सौंप दिया। स्पीकर ने इस बारे में कोई व्यवस्था नहीं दी। श्रवण कुमार बोले कि फैसले के खिलाफ युवाओं में रोष है।



'भ्रष्टाचार की गुंजाइश'
शून्यकाल में उपनेता प्रतिपक्ष घनश्याम तिवाड़ी ने कहा कि मुद्दे पर आंदोलन हो रहे हैं, विधायक इस्तीफा देने को आतुर हैं। वर्तमान भर्ती व्यवस्था में भ्रष्टाचार की गुंजाइश है। कुछ देर बाद कालीचरण सराफ, वासुदेव देवनानी सहित कई सदस्य वैल में आ गए। तिवाड़ी के कहने पर वे स्थान पर लौटे।
मंत्री भी विपक्ष के साथ
चिकित्सा राज्य मंत्री राजकुमार शर्मा, गृह नागरिक सुरक्षा राज्य मंत्री राजेन्द्र गुढ़ा व प्रताप सिंह खाचरियावास सहित सत्ता पक्ष के कुछ सदस्यों ने यही मांग उठाई। सत्ता पक्ष के प्रकाश चौधरी, शाले मोहम्मद व अन्य ने वर्तमान प्रक्रिया को सही बताया। गोविंद सिंह डोटासरा ने एक पेपर, एक मेरिट पर जोर दिया।

News : Rajasthan Patrika (11.4.12)

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