RTET CTET Grade 2nd,3rd Teacher Recruitment Rajasthan थर्ड ग्रेड शिक्षक भर्ती Rajasthan Teacher Eligibility Test
Sunday, May 20, 2012
राजस्थान की जनजातियाँ
राजस्थान की जनजातियाँ
डामोर, कथौडी, कालबेलिया जनजातियाँ
डामोर : -
Ø बाँसवाड़ा और डूंगरपुर जिले की सीमलवाडा पंचायत समिति में निवास करती है.
Ø मुखी – डामोर जनजाति की पंचायत का मुखिया
Ø ये लोग अंधविश्वासी होते है.
Ø ये लोग मांस और शराब के काफी शौक़ीन होते है.
कथौडी –
Ø यह जनजाति बारां जिले और दक्षिणी-पश्चिम राजस्थान में निवास करते है.
Ø मुख्य व्यवसाय – खेर के वृक्षों से कत्था तैयार करना.
कालबेलिया
Ø मुख्य व्यवसाय – साँप पकडना है.
Ø इस जनजाति के लोग सफेरे होते है.
Ø ये साँप का खेल दिखाकर अपना पेट भरते है.
Ø राजस्थान का कालबेलिया नृत्य यूनेस्को की विरासत सूची में (पारंपरिक छाऊ नृत्य )
राजस्थान री नदियां
राजस्थान री नदियां
राजस्थान री नदियां
१) चम्बल नदी -
इस नदी का प्राचीन नाम चर्मावती है। कुछ स्थानों पर इसे कामधेनु भी कहा जाता है। यह नदी मध्य प्रदेश के मऊ के दक्षिण में मानपुर के समीप जनापाव पहाड़ी (६१६ मीटर ऊँची) के विन्ध्यन कगारों के उत्तरी पार्श्व से निकलती है। अपने उदगम् स्थल से ३२५ किलोमीटर उत्तर दिशा की ओर एक लंबे संकीर्ण मार्ग से तीव्रगति से प्रवाहित होती हुई चौरासीगढ़ के समीप राजस्थान में प्रवेश करती है। यहां से कोटा तक लगभग ११३ किलोमीटर की दूरी एक गार्ज से बहकर तय करती है। चंबल नदी पर भैंस रोड़गढ़ के पास प्रख्यात चूलिया प्रपात है। यह नदी राजस्थान के कोटा, बून्दी, सवाई माधोपुर व धौलपुर जिलों में बहती हुई उत्तर-प्रदेश के इटावा जिले मुरादगंज स्थान में यमुना में मिल जाती है। यह राजस्थान की एक मात्र ऐसी नदी है जो सालोंभर बहती है। इस नदी पर गांधी सागर, राणा प्रताप सागर, जवाहर सागर और कोटा बैराज बांध बने हैं। ये बाँध सिंचाई तथा विद्युत ऊर्जा के प्रमुख स्रोत हैं। चम्बल की प्रमुख सहायक नदियों में काली, सिन्ध, पार्वती, बनास, कुराई तथा बामनी है। इस नदी की कुल लंबाई 965 किलोमीटर है। यह राजस्थान में कुल ३७६ किलोमीटर तक बहती है।
२) काली सिंध -
यह चंबल की सहायक नदी है। इस नदी का उदगम् स्थल मध्य प्रदेश में देवास के निकट बागली गाँव है। कुध दूर मध्य प्रदेश में बहने के बाद यह राजस्थान के झालावाड़ और कोटा जिलों में बहती है। अंत में यह नोनेरा (बरण) गांव के पास चंबल नदी में मिल जाती है। इसकी कुल लंबाई २७८ किलोमीटर है। आहू, उजाड, नीवाज, परवन इसकी सहायक नदिया है।
३) बनास नदी -
बनास एक मात्र ऐसी नदी है जो संपूर्ण चक्र राजस्थान में ही पूरा करती है। बनअआस अर्थात बनास अर्थात (वन की आशा) के रुप में जानी जाने वाली यह नदी उदयपुर जिले के अरावली पर्वत श्रेणियों में कुंभलगढ़ के पास खमनौर की पहाड़ियों से निकलती है। यह नाथद्वारा, कंकरोली, राजसमंद और भीलवाड़ा जिले में बहती हुई टौंक, सवाई माधोपुर के पश्चात रामेश्वरम के नजदीक (सवाई माधोपुर) चंबल में गिर जाती है। इसकी लंबाई लगभग ४८० किलोमीटर है। इसकी सहायक नदियों में बेडच, कोठरी, मांसी, खारी, मुरेल व धुन्ध है। (i )बेडच नदी १९० किलोमीटर लंबी है तथा गोगंडा पहाड़ियों (उदयपुर) से निकलती है। (ii )कोठारी नदी उत्तरी राजसामंद जिले के दिवेर पहाड़ियों से निकलती है। यह १४५ किलोमीटर लंबी है तथा यह उदयपुर, भीलवाड़ा में बहती हुई बनास में मिल जाती है।(iii) खारी नदी ८० किलोमीटर लंबी है तथा राजसामंद के बिजराल की पहाड़ियों से निकलकर देवली (टौंक) के नजदीक बनास में मिल जाती है।
४) बाणगंगा -
इस नदी का उदगम् स्थल जयपुर की वैराठ की पहाड़ियों से है। इसकी कुल लंबाई ३८० किलोमीटर है तथा यह सवाई माधोपुर, भरतपुर में बहती हुई अंत में फतेहा बाद (आगरा) के समीप यमुना में मिल जाती है। इस नदी पर रामगढ़ के पास एक बांध बनाकर जयपुर को पेय जल की आपूर्ति की जाती है।
५) पार्वती नदी -
यह चंबल की एक सहायक नदी है। इसका उदगम् स्थल मध्य प्रदेश के विंध्यन श्रेणी के पर्वतों से है तथा यह उत्तरी ढाल से बहती है। यह नदी करया हट (कोटा) स्थान के समीप राजस्थान में प्रवेश करती है और बून्दी जिले में बहती हुई चंबल में गिर जाती है।
६) गंभीरी नदी -
११० किलोमीटर लंबी यह नदी सवाई माधोपुर की पहाड़ियों से निकलकर करौली से बहती हुई भरतपुर से आगरा जिले में यमुना में गिर जाती है।
७) लूनी नदी -
यह नदी अजमेर के नाग पहाड़-पहाड़ियों से निकलकर नागौर की ओर बहती है। यह जोधपुर, बाड़मेर और जालौर में बहती हुई यह गुजरात में प्रवेश करती है। अंत में कच्छ की खाड़ी में गिर जाती है। लूनी नदी की कुल लंबाई ३२० किलोमीटर है। यह पूर्णत: मौसमी नदी है। बलोतरा तक इसका जल मीठा रहता है लेकिन आगे जाकर यह खारा होता जाता है। इस नदी में अरावली श्रृंखला के पश्चिमी ढाल से कई छोटी-छोटी जल धाराएँ, जैसे लालरी, गुहिया, बांड़ी, सुकरी जबाई, जोजरी और सागाई निकलकर लूनी नदी में मिल जाती है। इस नदी पर बिलाड़ा के निकट का बाँध सिंचाई के लिए महत्वपूर्ण है।
८) मादी नदी -
यह दक्षिण राजस्थान मुख्यत: बांसबाड़ा और डूंगरपुर जिले की मुख्य नदी है। यह मध्य प्रदेश के धार जिले में विंध्यांचल पर्वत के अममाऊ स्थान से निकलती है। उदगम् से उत्तर की ओर बहने के पश्चात् खाछू गांव (बांसबाड़ा) के निकट दक्षिणी राजस्थान में प्रवेश करती है। बांसबाड़ा और डूंगरपूर में बहती हुई यह नदी गुजरात में प्रवेश करती है। कुल ५७६ किलोमीटर बहने के पश्चात् यह खम्भात की खाड़ी में गिर जाती है। इसकी प्रमुख सहायक नदियों में सोम, जाखम, अनास, चाप और मोरन है। इस नदी पर बांसबाड़ा जिले में माही बजाज सागर बांध बनाया गया है।
९) धग्धर नदी -
यह गंगानगर जिले की प्रमुख नदी है। यह नदी हिमालय पर्वत की शिवालिक श्रेणियों से शिमला के समीप कालका के पास से निकलती है। यह अंबाला, पटियाला और हिसार जिलों में बहती हुई राजस्थान के गंगानगर जिले में टिब्वी के समीप उत्तर-पूर्व दिशा में प्रवेश करती है। पूर्व में यह बीकानेर राज्य में बहती थी लेकिन अब यह हनुमानगढ़ के पश्चिम में लगभग ३ किलोमीटर दूर तक बहती है।
हनुमानगढ़ के पास भटनेर के मरुस्थलीय भाग में बहती हुई विलीन हो जाती है। इस नदी की कुल लंबाई ४६५ किलोमीटर है। इस नदी को प्राचीन सरस्वती के नाम से भी जाना जाता है।
१०) काकनी नदी -
इस नदी को काकनेय तथा मसूरदी नाम से भी बुलाते है। यह नदी जैसलमेर से लगभग २७ किलोमीटर दूर दक्षिण में कोटरी गाँव से निकलती है। यह कुछ किलोमीटर प्रवाहित होने के उपरांत लुप्त हो जाती है। वर्षा अधिक होने पर यह काफी दूर तक बहती है। इसका पानी अंत में भुज झील में गिर जाता है।
११) सोम नदी -
उदयपुर जिले के बीछा मेड़ा स्थान से यह नदी निकलती है। प्रारंभ में यह दक्षिण-पूर्व दिशा में बहती हुई डूंगरपूर की सीमा के साथ-साथ पूर्व में बहती हुई बेपेश्वर के निकट माही नदी से मिल जाती है।
१२) जोखम -
यह नदी सादड़ी के निकट से निकलती है। प्रतापगढ़ जिले में बहती हुई उदयपुर के धारियाबाद तहसील में प्रवेश करती है और सोम नदी से मिल जाती है।
१३) साबरमती -
यह गुजरात की मुख्य नदी है परंतु यह २९ किलोमीटर राजस्थान के उदयपुर जिले में बहती है। यह नदी पड़रारा, कुंभलगढ़ के निकट से निकलकर दक्षिण की ओर बहती है। इस नदी की कुल लंबाई ३१७ किलोमीटर है।
१४) काटली नदी -
सीकर जिले के खंडेला पहाड़ियों से यह नदी निकलती है। यह मौसमी नदी है और तोरावाटी उच्च भूमि पर यह प्रवाहित होती है। यह उत्तर में सींकर व झुंझुनू में लगभग १०० किलोमीटर बहने के उपरांत चुरु जिले की सीमा के निकट अदृश्य हो जाती है।
१५) साबी नदी -
यह नदी जयपुर जिले के सेवर पहाड़ियों से निकलकर मानसू, बहरोड़, किशनगढ़, मंडावर व तिजारा तहसीलों में बहने के बाद गुडगाँव (हरियाणा) जिले के कुछ दूर प्रवाहित होने के बाद पटौदी के उत्तर में भूमिगत हो जाती है।
१६) मन्था नदी -
यह जयपुर जिले में मनोहरपुर के निकट से निकलकर अंत में सांभर झील में जा मिलती है।
Rajasthan RTET : Grade 3rd Teacher Recruitment Model Solved Exam Paper
तृतीय श्रेणी परीक्षा सामान्य ज्ञान प्रश्नोत्तरी
Rajasthan RTET : Grade 3rd Teacher Recruitment Model Solved Exam Paper
1. राष्ट्रीय खेल दिवस कब मनाया जाता है।- 29 अगस्त
2.अंतर्राष्ट्रीय मानवाधिकार दिवस कब मनाया जाता है।- 10 दिसंबर
३. आनासागर का निर्माण किसने करवाया था।- अरुणोराज
4. बूंदी का किला किसने बनवाया था।- राजानगर सिंह
5. तुगलकाबाद का संस्थापक था।- ग्यासुदीन तुगलक
6. कोटा में जगमोहन महल का निर्माण किसने करवाया था।- राजकुमार ब्रजकुमार
7. धोलपुर में कानपुर महल किसने बनवाया था।- शाहजहां
8. किस शासक ने सर्वप्रथम लोक निर्माण विभाग की स्थापना की।- फिरोजशाह तुगलक
9. अजंता की गुफाओं का निर्माण किसने करवाया था।- गुप्त शासकों ने
10. दरगाह अजमेर शरीफ का निर्माण किसने करवाया था।- सुल्तान ग्यासुद्दीन
11. उदयपुर में सहेलियों की बाड़ी किसने बनवाई थी।- महाराणा फतह सिंह
12. बूंदी में छत्र महल का निर्माण किसने करवाया था।- रानी छत्रसाल
13. कलिंग पुरस्कार किस क्षेत्र के लिए दिया जाता है।- विज्ञान के क्षेत्र में
14. सरस्वती सम्मान किस क्षेत्र में योगदान के लिए दिया जाता है।- साहित्य के क्षेत्र में
15. मैन ऑफ डेस्टिनी किसे कहा जाता है।- नेपोलियन बोनापार्ट
16. ग्रेंड मैन ऑफ ब्रिटेन किसे कहा जाता है।- ग्लेडस्टोन
17. कविगुरु कि नाम से किसे जाना जाता है।- रवींद्र नाथ ठाकुर
18. भारत का शेक्सपियर किसे कहा जाता है।- महाकवी कालिदास
19. गुजरात का जनक किसे कौन है।- रविशंकर महाराज
20. तोता ए हिंद के नाम से जाना जाता है।- अमीर खुसरो
21. एतमादूद्दौला का मकबरा किसने बनवाया।- नूरजहां
22. हैदराबाद में चार मीनार का निर्माण किसने करवाया।- कुली कुतुबशाह
23. अकबर का मकबरा किसने बनवाया।- जहांगीर
24. पूर्ण स्वाधीनता का प्रस्ताव किस अधिवेशन में दिया गया।- कांग्रेस का लाहौर अधिवेशन
25. कांग्रेस नरम व गरम दल में कब विभाजित हुई।- 1907
26. आज़ाद हिंद सरकार की स्थापना किसने की।- सुभाष चंद्र बोस
27. वीमेन्स इंडिया एसोसिएशन की स्थापना किसने की।- लेडी सदाशिव अय्यर
28. किस एक्ट को काला कानून कहा है।- रौलेक्ट एक्ट
29. मुगल काल में कृषक कितने वर्गो में विभाजित थे।- तीन
30. शिवाजी ने कौनसे कर लगाए थे।- चौथ व सरदेशमुखी
31. पालखेड़ा का युद्ध किसके मध्य हुआ।- पेशवा बाजीराव प्रथम व निजामुलमुल्क के मध्य
32. किस संधी के बाद पेशवा के हाथ में सारे अधिकार सुरक्षित हो गए।- संगोला की संधि
33. दिल्ली पर हमला करने वाला प्रथम पेशवा कौन था।- बाजीराव प्रथम
34. रंगीला बादशाह किस शासक को कहा गया है - मुहम्मद शाह
35. फ्रांस के राष्ट्रपति कौन हैं।- फ्रांस्वा ओलांद
36. विश्व रक्तादान दिवस कब मनाया जाता है।- 15 जून
37. विश्व प्रेस स्वतंत्रता दिवस मनाया जाता है।- 3 मई
38. पृथ्वी दिवस कब मनाया जाता है।-22 मई
39. विश्व पर्यावरण दिवस मनाया जाता है।- 5 मई
40. राष्ट्रीय युवा दिवस कब मनाया जाता है।- 12 जनवरी
41. न्याय दर्शन के संस्थापक कौन हैं।- महर्षि गौतम
42. भूदान आंदोलन के प्रवर्तक कौन थे।- बिनोवा भावे
43. आनंद वन की स्थापना किसने की थी।- बाबा आम्टे
44. हाल ही में न्यूजीलैंड की तरफ से टेस्ट क्रिकेट टीम में किस भारतीय मूल के खिलाड़ी को चुना गया है।- तरुण साई नेथुला
45. भारत सरकार ने दादा साहब फाल्के पुरस्कार कब शुरू किया।- 1969
46. स्काउटिंग की स्थापना किसने की।- वेडन पावेल
47. घापाल, फूंदी लोकनृत्य किस राज्य से संबंधित है।- राजस्थान
48. राउफ, हिकात, मंदजास, कूद दंडीनाच लोकनृत्य किस राज्य से संबंधित है।- जम्मू-कश्मीर
49. लाहो, बांग्ला लोकनृत्य का संबंध किस से राज्य है।- मेघालय
50. गुजरात एवं महाराष्ट्र दिवस कब मनाया जाता है।- एक मई
51. इंडियन सिक्योरिटी प्रेस कहां पर है।- नासिक रोड, पुणे
52. कोशिकीय एवं आण्विक जीव विज्ञान केंद्र कहां पर स्थित है।- हैदराबाद
53. भारत का सबसे बड़ा खेल मैदान कौनसा है।- युवा भारतीय स्टेडियम
54. एकसाथ सबसे ज्यादा खिलाड़ी किस खेल में खेलते हैं।- रग्बी
55. वाटर पोलो की एक टीम में कितने खिलाड़ी होते हैं।- सात
56. वॉलीबाल की टीम कितने खिलाड़ी होते हैं।- सात
57. हीव, कैड्रल, डबल नेल्सन, डागफल किस खेल से संबंधित शब्द हैं।- कुश्ती
58. शतरंज विश्व कप कितने समय अंतराल से होता है।- दो साल बाद
59. पुट हॉल, निवालिक, कैडी, लिम्स, आयरन शब्द किस खेल से संबंधित है।- गोल्फ
60. बेसवॉल खेल में जो खिलाड़ी बॉल को बेटर के लिए फैंकता है उसे कहते हैं।- पिचर
Saturday, May 19, 2012
RTET : नियम संशोधन में देरी से बीएड डिग्रीधारी परेशान
RTET : नियम संशोधन में देरी से बीएड डिग्रीधारी परेशान
Rajsthan Grade 3rd Teacher Recruitment, B. Ed Degree Holders upset as they are NOT eligible for Primary Teacher Recruitment as per NCTE Guidelines ( eligibility upto 1st Jan 2012)
बीकानेर
राजस्थान के लाखों बीएड योग्यताधारी आरटेट 2011 के प्रथम स्तर में उत्तीर्ण होकर भी तृतीय श्रेणी शिक्षक भर्ती के प्रथम स्तर के लिए अपात्र हो गए हैं।
केंद्र सरकार की ओर से 23 अगस्त, 2010 को अधिनियम बनाकर प्रारंभिक शिक्षक के लिए अध्यापक पात्रता परीक्षा पास होना अनिवार्य किया गया। इसमें एक जनवरी 2012 तक बीएड डिग्रीधारी स्नातक को कक्षा एक से पांच में पढ़ाने के लिए पात्र माना गया था। यह 17 माह का समय टेट परीक्षा आयोजन और नियुक्ति प्रक्रिया पूर्ण करने के लिए रखा गया था। केंद्र सरकार के अपने अधिनियम में कई कमियां थी। केंद्र ने 11 माह बाद 29 जुलाई, 2011 को संशोधन कर इन कमियों को दूर किया। संशोधन में टेट पात्रता के लिए 50 से घटाकर 45 प्रतिशत अंक किए गए और वाणि'य स्नातक बीएड को भी पात्र माना गया।
बीएड डिग्रीधारियों को प्रथम स्तर पर मात्र मानने की तिथि जनवरी 2012 तक ही रखी गई। जबकि केंद्र सरकार द्वारा संशोधन के कारण कारण आरटेट परीक्षा 2011 के आयोजन व परिणाम में विलंब हुआ है। अब प्रथम स्तर के लिए आरटेट पास बीएड योग्यता वाले अपने को ठगा महसूस कर रहे हैं। राजस्थान प्राथमिक एवं माध्यमिक शिक्षक संघ के महामंत्री महेंद्र पांडे ने कहा कि नियम संशोधन की दिनांक 29 जुलाई, 2011 से आगे 17 माह एक जनवरी, 2014 तक बीएड डिग्रीधारी स्नातक को प्रथम स्तर के लिए मात्र माना जाना चाहिए।
News : Bhaskar.com (19.5.12)
Friday, May 18, 2012
RTET : टेट मामला : निर्णय सुरक्षित
RTET : टेट मामला : निर्णय सुरक्षित
जोधपुर-!- राजस्थान हाईकोर्ट ने राजस्थान शिक्षक पात्रता परीक्षा ((आरटेट)) में उत्तीर्ण अभ्यर्थियों को तृतीय श्रेणी शिक्षक भर्ती परीक्षा में शामिल नहीं करने का निर्णय 19 मई तक सुरक्षित रखा है। यह आदेश न्यायाधीश गोपालकृष्ण व्यास ने विराराम व अन्य की ओर से दायर याचिकाओं की सुनवाई के तहत दिए।
सुनवाई के दौरान गुरुवार को रा'य सरकार की ओर से अतिरिक्त महाधिवक्ता जीआर पूनिया ने न्यायालय को बताया की टेट मामले में एनसीटीई के नियमों के अनुसार ही अभ्यर्थियों को प्रवेश दिया जा रहा है। हाईकोर्ट की जयपुर पीठ इस तरह की याचिकाओं को खारिज कर चुकी है। याचिकाकर्ताओं की ओर से अधिवक्ता डॉ. पुष्पेंद्रसिंह भाटी, डॉ. नुपूर भाटी, कैलाश जांगिड़, सुकेश भाटी व हनुमान सिंह ने विरोध करते हुए बताया कि अभ्यर्थियों ने आर-टेट की अधिसूचना के आधार पर ही आवेदन कर परीक्षा उत्तीर्ण की है, उन्हें आर-टेट के प्रमाण पत्र जारी किए गए हैं। ये प्रमाण पत्र 7 वर्ष के लिए वैध हैं, लेकिन भर्ती परीक्षा में कटऑफ डेट जनवरी 2012 बताते हुए इन्हें योग्य नहीं माना जा रहा है। दोनों पक्षों की बहस सुनने के बाद न्यायाधीश गोपालकृष्ण व्यास ने याचिकाओं पर निर्णय 19 मई तक के लिए सुरक्षित रखने के आदेश दिए
News : Bhaskar.com (18.5.12)
RTET : हाईकोर्ट का आदेश,15 दिन में करें टेट आयोजन का निर्णय
RTET : हाईकोर्ट का आदेश,15 दिन में करें टेट आयोजन का निर्णय
जोधपुर.हाईकोर्ट ने राज्य सरकार व नेशनल काउंसिल ऑफ टीचर्स एजुकेशन ट्रेनिंग (एनसीटीई) को निर्देश दिए हैं कि तृतीय श्रेणी भर्ती परीक्षा से पहले आरटेट 2012 के आयोजन को लेकर 15 दिन में निर्णय करें। न्यायाधीश गोपालकृष्ण व्यास ने देवीसिंह व अन्य की याचिकाओं को निस्तारित करते हुए यह आदेश दिए।
याचिकाकर्ताओं का कहना था कि आरटेट की निर्देश पुस्तिका के अनुसार सरकार को नोडल एजेंसी के माध्यम से प्रत्येक वर्ष इसका आयोजन कराना था, लेकिन इस संबंध में अभी तक कोई निर्णय नहीं हुआ। दूसरी ओर सरकार शिक्षकों के करीब 40 हजार रिक्त पद भरने जा रही है। इसके लिए आरटेट-2011 में उत्तीर्ण अभ्यर्थियों को ही अवसर दिया जा रहा है, जबकि आरटेट-2011 में असफल अभ्यर्थी दूसरे अवसर के इंतजार में हैं
News : Bhaskar.com (15.5.12)
Thursday, May 17, 2012
Download http://rajresults.nic.in/sci2012ajmbrd.htm 12th results BOARD OF SECONDARY EDUCATION, RAJASTHAN, AJMER
BOARD OF SECONDARY EDUCATION, RAJASTHAN, AJMER
Declared Senior Secondary (Science) Examination, 2012 Result
http://rajresults.nic.in/sci2012ajmbrd.htm 12th results BOARD OF SECONDARY EDUCATION, RAJASTHAN, AJMER
Download http://rajresults.nic.in/sci2012ajmbrd.htm 12th results BOARD OF SECONDARY EDUCATION, RAJASTHAN, AJMER
The Board of Secondary Education Rajasthan (BOSER) has been constituted under the Rajasthan intermediate results 2012
Rajasthan 12th Science results is inline with expectation, the overall result stood at 76% from total 143635 students appeared for 12th Science Examination 2012. Girls once again shine in Merit list and overall results with Passing percent of 83% which is much higher than 74% of boys.
Rajasthan Board 12th Science 2012 Merit List
RANK 1: VIKRANT SHARMA FROM S.S. ADARSH SR SECONDARY SCHOOL,PADAMPUR – 96.80%
RANK 2: MS.SARITA SWAMI FROM TAGORE BAL NIKETAN SR SECONDARY SCHOOL,GUDAGAURJI(JHUNJHUNU) – 95.80 %
RANK 3: ROHTASH KUMAR FROM MODERN PRINCE SR SECONDARY SCHOOL,TARANAGAR (CHURU) 95.60 %
RANK 4: AJAY YADAV FROM VIVEKANAND SR SECONDARY SCHOOL,BIBIRANI(ALWAR) – 95.00 %
RANK 4: HIMANSHU SONI FROM TAGORE CHILD ACA SR SS,SURAJGARH(JHUNJHUNU) - 95.00 %
RANK 5: GHANSHYAM JANGIR FROM GURU RAVINDRANATH TAGORE PUB SR SECONDARY SCHOOL,TARANAGAR (CHURU) - 94.60 %
RANK 5: MS.SWATI BURI FROM RAVINDRANATH TAGORE PUBLIC SR SECONDARY SCHOOL,ROAD NO 3,JHUNJHUNU – 94.60 %
RANK 6: MS.ANUJA GUPTA FROM MAA VIDHYA NIKETAN SR SS,HARI NAGAR,A-8 SHASTRI NAGAR,JAIPUR – 94.40 %
RANK 7: ANKIT KUMAR SHARMA FROM GOVT SARDAR SR SECONDARY SCHOOL,KOTPUTLI 94.20 %
RANK 7: JAYDEEP DUGAR FROM NAVJEEVAN SHIKSHAN SANSTHAN SR SECONDARY SCHOOL,JYOTI NAGAR,SIKAR – 94.20 %
RANK 8: HEMANT KUMAR VERMA FROM SH DALMIA SR SECONDARY SCHOOL,CHIRAWA(JHUNJHUNU) – 94.00 %
RANK 8: ARPIT NAMA FROM JAWAHAR CHILDREN SR SECONDARY SCHOOL,VIGYAN NAGAR,KOTA – 94.00%
RANK 8: DEEPAK KUMAR FROM TAGORE SHIKSHAN SANSTHAN SR SEC SCH,KUCHAMAN CITY – 94.00 8%
RANK 8: ANUPAM SHARMA CHANDRA FROM SR SEC SCH,M NAGAR,HINDAUN(KARAULI) - 94.00 8%
RANK 9: MS.ANKITA KUMARI FROM KEDIA NEW JHUNJHUNU ACADEMIC SR SEC SCH,JHUNJHUNU - 93.80 %
RANK 9: MS.ZOYA KHAN FROM CENTRAL PUBLIC SR SS,1-P-18 V NAGAR,KOTA - 93.80 %
RANK 9: YASHPAL SUTHAR FROM SH VIJAY ADRASH VM SR SEC SCH,GURUKUL,VIJAY VIHAR,PALI - 93.80 %
RANK 9: MS.NOO NIDHI AGRAWAL FROM GOVT SR SEC SCH,TONK - 93.80 %
RANK 10: MS.PAYAL KHUTETA FROM SARVODAY VIDHYA ASHRAM SR SEC SCH,RAJGARH(ALWAR) – 93.60 %
RANK 10: MS.PRERNA YADAV FROM SHRI KRISHAN SR SEC SCH,DUMOLIKHURD(JHUNJHUNU) - 93.60 %
RANK 10: MS.RASHMI CHOUDHARY FROM NAVJEEVAN SHIKSHAN SANSTHAN SR SEC SCH,JYOTI NAGAR,SIKAR - 93.60 %
Visit following link to see result : http://rajresults.nic.in/sci2012ajmbrd.htm
Download rajasthan board 12th science result 2012, secondary education, , rajasthan patrika
Saturday, May 12, 2012
RTET : 'बीएड धारक थर्ड ग्रेड टीचर भर्ती (फर्स्ट लेवल) के योग्य नहीं'
RTET : 'बीएड धारक थर्ड ग्रेड टीचर भर्ती (फर्स्ट लेवल) के योग्य नहीं'
Rajasthan Highcourt : Grade 3rd / IIIrd Teacher Recruitment : B. Ed Candidates are not eligible for Primary Teacher / Level - I Job
कोर्ट ने कहा, जो भी प्रार्थी अभ्यर्थी एक जनवरी 2012 के बाद वांछित योग्यता नहीं रखते, उसे परीक्षा के योग्य नहीं माना जा सकता
जयपुर. हाईकोर्ट ने आरटेट के फर्स्ट लेवल में उत्तीर्ण बीएड धारकों को थर्ड ग्रेड टीचर भर्ती के फस्र्ट लेवल के योग्य नहीं माना है। हाईकोर्ट के न्यायाधीश एमएन भंडारी ने राजेश कुमार मीणा व अन्य की करीब एक हजार याचिकाओं को निस्तारित करते हुए कहा कि प्रार्थियों ने एनसीटीई की अधिसूचना को चुनौती नहीं दी है।
कोर्ट ने कहा कि ऐसे में जो भी प्रार्थी अभ्यर्थी एक जनवरी 2012 के बाद वांछित योग्यता नहीं रखते हैं। उसे परीक्षा के योग्य नहीं माना जा सकता। क्योंकि ये एक जनवरी 2012 तक ही नियुक्ति के लिए योग्य थे। कोर्ट ने कहा कि विशेष तौर पर उस स्थिति में जब न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता में शिथिलता का अधिकार दो परिस्थितियों में दिया जाता है। या तो योग्यताधारी अभ्यर्थी विज्ञप्ति में दिए गए पदों से कम हों या कोर्स कराने वाले संस्थान नहीं हो।
लेकिन यहां पर दोनों ही परिस्थितियां नहीं हैं। ऐसे में प्रार्थियों को नियमों में शिथिलता नहीं दी जा सकती। क्योंकि राज्य ने एनसीटीई से छूट का निवेदन किया था। लेकिन एनसीटीई ने मना कर दिया था। अदालत ने प्रार्थियों को छूट दी कि वे अधिसूचना व भर्ती नियमों को खंडपीठ में चुनौती दे सकते हैं।
गौरतलब है कि पूर्व में प्रार्थियों को अस्थाई तौर पर थर्डग्रेड भर्ती परीक्षा में शामिल करने का निर्देश दिया था। प्रार्थियों का कहना था कि वे ग्रेजुएट व बीएड धारक हैं और आरटेट के लेवल प्रथम में उत्तीर्ण है। लेकिन उन्हें थर्ड ग्रेड टीचर भर्ती परीक्षा 2012 के लिए योग्य नहीं माना है। बीएसटीसी अभ्यर्थियों को ही परीक्षा के लेवल प्रथम के योग्य माना है।
प्रार्थियों ने कहा कि टीचर भर्ती परीक्षा में उन्हें शामिल नहीं करना कानूनी रूप से गलत है। क्योंकि एनसीटीई के नियमानुसार वे पहली से पांचवीं कक्षाओं को पढ़ाने के लिए योग्य हैं, लिहाजा उन्हें परीक्षा में शामिल करवाया जाए।
News : Bhaskar.com (11.5.12)
Friday, May 11, 2012
RTET Rajasthan : No eligibility relaxation in teachers test, rules high court
No eligibility relaxation in teachers test, rules high court
B. Ed candidates after 1st Jan 2012 are not eligible for Primary Teacher jobs
Big Shock to B. Ed Candidates
RTET Rajasthan News
JAIPUR: The Rajasthan High Court on Friday declined to direct the National Council for Teacher Education (NCTE) to allow relaxation in the eligibility conditions to candidates aspiring to take the recruitment test for Grade-III teachers scheduled in June.
Nearly 1000 petitions were filed by thousands of aspiring candidates seeking the relaxation on the ground that the state government's delay in holding the recruitment test was responsible for their ineligibility. The state government would be holding a recruitment test to fill around 42,000 vacancies of teachers in rural areas through the zila parishad.
As per the NCTE notification of August 23, 2010, graduates with a BEd degree were eligible appear for the Rajasthan Teachers Eligibility Test ( RTET) level-I recruitment test only till January 1, 2012. After this cut off date, the candidates were required to have the Basic School Training Certificate (BSTC) or Senior Teaching Certificate (STC) to take the test. The petitioners argued that the government failed to hold the recruitment test before January 1, 2012 so the eligibility relaxation should be granted.
It was reasoned that Section 23 of the Right to Education (RTE) Act talked about giving five years relaxation to teachers who did not posses the required eligibility qualification. The single bench of Justice M N Bhandari, however, disposed of the bunch of petitions saying that the two conditions under which relaxation in eligibility could be provided under the law did not exist in the present case.
As per the law, relaxation could be granted if the number of eligible candidates was not equal to the number of advertised posts. The second condition under which relaxation could be granted was when there did not exist enough number of institutions to teach the large number of candidates who aspired to acquire the eligibility conditions.
News : Times of India (12.5.12)
की सुनवाई पूरी Rajasthan Highcourt / Jodhpur Bench - RTET : Grade 3rd Teacher Recruiment , B. Ed Candidates are eligibile for Pimary Teacher / Level 1 job OR Not
RTET : बीएड व टेट पास को लेवल वन के योग्य मानने की सुनवाई पूरी
Rajasthan Highcourt / Jodhpur Bench - RTET : Grade 3rd Teacher Recruiment , B. Ed Candidates are eligibile for Pimary Teacher / Level 1 job OR Not
अदालत ने पूरे मामले पर निर्णय लिखवाने के लिए 17 मई की तिथि मुकर्रर की
जोधपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने थर्ड ग्रेड टीचर्स की भर्ती परीक्षा में बीएड व टेट पास अभ्यर्थियों को लेवल वन के लिए योग्य मानने से संबंधित करीब एक सौ से अधिक याचिकाओं की सुनवाई शुक्रवार को पूरी हो गई। न्यायाधीश गोपाल कृष्ण व्यास ने प्रार्थीगण वीराराम, हापू राम व एक सौ से अधिक अन्य की ओर से दायर याचिकाओं की सुनवाई पूरी करते हुए मामले पर निर्णय लिखवाने के लिए 17 मई की तिथि मुकर्रर की है।
याचिकाकर्ताओं की ओर से अधिवक्ता डॉ. पीएस भाटी, हनुमान सिंह चौधरी, पीएस चूंडावत आदि ने कहा कि सरकार ने आरटेट लेवल वन में बीएड योग्यताधारी याचिकाकर्ताओं को शामिल कर सफल घोषित तो कर दिया। लेकिन 1 जनवरी 2012 तक कोई नियुक्ति प्रक्रिया शुरू नहीं की, जबकि इस संदर्भ में सेवा नियमों में संशोधन मई 2011 में ही किया जा चुका था।
उन्होंने ने कहा कि अब सरकार 1 जनवरी 2012 की तिथि का हवाला दे कर भर्ती प्रक्रिया में याचिकाकर्ताओं को नियुक्ति से महरूम कर रही है। सरकार की कोताही की वजह से याचिकाकर्ताओं को अयोग्य नहीं ठहराया जा सकता।
अधिवक्ताओं ने यह भी कहा कि भर्ती जिस वर्ष के लिए की जा रही हो, उसी वर्ष के नियमानुसार होनी चाहिए। अदालत में मौजूद अतिरिक्त महाअधिवक्ता जीआर पूनिया ने कहा कि सरकार एनसीटीई के नियमों को मानने के लिए बाध्य है, इसलिए 1 जनवरी 2012 के बाद के याचिकाकर्ताओं को योग्य नहीं माना जा सकता।
News : Bhaskar.com (11.5.12)
Thursday, May 10, 2012
Special teachers will have to pass RTET, says HC
Special teachers will have to pass RTET, says HC
Jaipur: The Rajasthan high court has disposed of the petitions filed by special teachers to consider them for the third grade teacher recruitment without appearing in the Rajasthan teacher eligibility test (TET).
Justice Manish Bhandari ordered the dismissal of the petition of Deepak Kumar and 36 other petitioners.
While hearing the case, the court observed that they have not challenged the rules. On this, the petitioners requested the court that they would withdraw the old petition and file a new one before the bench. Then, the court dismissed the petitions.
In the petition, the petitioners said, “We hold diploma from Rehabilitation Council of India (RCA) and are authorised to teach special children. However, it is not mentioned in the rules that special teachers who are appearing in the third grade teacher recruitment exams compulsorily have to pass Rajasthan teacher eligibility test.”
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NAT or SLATE must to clear M Phil, Phd, asks HC
The Rajasthan High Court has directed the HRD Ministry to submit a report by May 21 on whether the obligation to pass NET or SLATE is compulsory to clear MPhil and PhD.
A bench of Chief Justice Arun Mishra and Justice Narendra Kumar ordered this to Swati Meena and others while hearing the petition.
Earlier, it was not mandatory to clear NAT or SLATE for the recruitment of college lecturers and assistant professors after passing PhD and M Phil, but after July 11, 2009, the UGC made it mandatory to clear NAT or SLATE.
In the petition, it has been said that the UGC cannot enforce the rules with immediate effect. The rule does not apply on those who have completed M Phil and PhD before the rules came into force.
The court observed on September 12, 2010, the UGC has said the rule does not apply to those who have completed M Phil and PhD till July 2009. The court showed resentment to the HRD Ministry for not taking any decision on it yet.
News : Bhaskar.com ( 10.5.12)
Tuesday, May 8, 2012
'टेट उत्तीर्ण, लेकिन बीएड या एसटीसी पास न करने वालों की सूची 24 घंटे में दें'
'टेट उत्तीर्ण, लेकिन बीएड या एसटीसी पास न करने वालों की सूची 24 घंटे में दें'
Rajasthan High Court Jodhpur Bench : Provide List of RTET Qualifide Candidates But Not Qualifide B.Ed /BSTC Exam in 24 Hoursजोधपुर.राजस्थान हाईकोर्ट ने राजस्थान अध्यापक पात्रता परीक्षा 2011 (टेट) के संदर्भ में परीक्षा के आयोजक माध्यमिक शिक्षा बोर्ड से पूछा है कि टेट में ऐसे कितने अभ्यर्थियों को सफल घोषित किया गया, जिन्होंने परीक्षा के रिजल्ट आने तक बीएड अथवा बीएसटीसी की फाइनल परीक्षा पास नहीं की थी। यह आदेश न्यायाधीश गोपाल कृष्ण व्यास ने टेट परीक्षा में असफल रहे बीएड पास अभ्यर्थी देवीसिंह व अन्य की ओर से दायर याचिका की सुनवाई के तहत दिए। न्यायाधीश ने बोर्ड से 24 घंटे में जवाब मांगा है।
अदालत में याचिकाकर्ताओं की ओर से पैरवी करते हुए अधिवक्ताओं ने कहा कि आरटेट 2011 में सफल रहे अभ्यर्थियों को दिए प्रमाण पत्र में प्रकाशित शर्त संख्या 3 में लिखा हुआ है कि टेट में सफल रहे ऐसे अभ्यर्थी जिन्होंने इस परीक्षा में एनसीटीई के नियमानुसार यह बताते हुए आवेदन किया था कि उन्होंने बीएड अथवा एसटीसी में प्रवेश लिया हुआ है।
इस तरह के अभ्यर्थी टीचर्स पात्रता परीक्षा में तभी प्रवेश ले सकेंगे, जब वे शिक्षक प्रशिक्षण परीक्षा पास कर लेंगे। इसका मतलब यह हुआ कि जिन्होंने शिक्षक प्रशिक्षण की परीक्षा भी पास नहीं की, उनको टेट में पास कर दिया गया। ऐसे तो जिन्होंने शिक्षक प्रशिक्षण परीक्षा पास की, लेकिन टेट में फेल हो गए तो उन्हें शिक्षक भर्ती के योग्य माना जाना चाहिए, वे टेट बाद में पास कर लेंगे।
News Source : http://www.bhaskar.com/article/RAJ-JOD-tet-passed-but-not-the-b-3230879.html
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Rajasthan Highcourt : Hearing of TET Failed Candidates complete, Decision put on hold till 14th May
टेट फेल अभ्यर्थियों की सुनवाई पूरी, निर्णय 14 मई तक सुरक्षित
(Rajasthan Highcourt : Hearing of TET Failed Candidates complete, Decision put on hold till 14th May )
जोधपुर.राजस्थान हाईकोर्ट ने राजस्थान अध्यापक पात्रता परीक्षा (आर टेट) 2011 में अनुत्तीर्ण लेकिन बीएड व एसटीसी उत्तीर्ण अभ्यर्थियों को तृतीय श्रेणी अध्यापक भर्ती परीक्षा में अस्थाई प्रवेश देने के मामले में मंगलवार को बहस पूरी कर ली।
न्यायाधीश गोपालकृष्ण व्यास ने देवीसिंह व अन्य की ओर से दायर याचिका पर निर्णय 14 मई तक के लिए सुरक्षित रख लिया है। अदालत में सोमवार को हुई बहस के बाद न्यायाधीश व्यास ने अप्रार्थी राजस्थान अध्यापक पात्रता परीक्षा (आर टेट) 2011 के आयोजक राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के अधिवक्ता राकेश अरोड़ा से आर टेट 2011 में उत्तीर्ण नॉन बीएड व नॉन एसटीसी अभ्यर्थियों की संख्या पूछी थी। बोर्ड की ओर से इसका जवाब पेश नहीं किया गया। अलबत्ता यह बताया गया कि आर टेट में 2 लाख अभ्यर्थी उत्तीर्ण हुए थे।
News : Bhaskar.com ( 9.5.12)
RTET Rajasthan Highcourt : टेट फेल अभ्यर्थियों की सुनवाई पूरी, निर्णय 14 मई तक सुरक्षित
RTET Rajasthan Highcourt : टेट फेल अभ्यर्थियों की सुनवाई पूरी, निर्णय 14 मई तक सुरक्षित
प्रदेश में बीएड व एसटीसी उत्तीर्ण अभ्यर्थी 8 लाख, टेट उत्तीर्ण 2 लाख, प्रस्तावित शिक्षक भर्ती 40 हजार
जोधपुर। हाईकोर्ट ने राजस्थान अध्यापक पात्रता परीक्षा 2011 में अनुत्तीर्ण रहे बीएड व एसटीसी उत्तीर्ण अभ्यर्थियों को तृतीय श्रेणी अध्यापक भर्ती परीक्षा मामले में अस्थाई प्रवेश देने के मामले में मंगलवार को बहस पूरी कर ली। न्यायाधीश गोपाल कृष्ण व्यास ने देवीसिंह व अन्य की ओर से दायर याचिका पर निर्णय 14 मई तक के लिए सुरक्षित रख लिया है।
अदालत में सोमवार को हुई बहस के बाद न्यायधीश अप्रार्थी राजस्थान अध्यापक पात्रता परीक्षा आरटेट 2011 के आयोजक राजस्थान सैकंडरी बोर्ड ऑफ एज्यूकेशन के अधिवक्ता राकेश अरोड़ा से आरटेट 2011 में उत्तीर्ण नॉन बीएड व नॉन एसटीसी अभ्यर्थियों की संख्या पूछी थी। बोर्ड की ओर से इसका जवाब पेश नहीं किया गया।
अलबत्ता यह बताया गया कि आरटेट परीक्षा में 2 लाख अभ्यर्थी उत्तीर्ण हुए थे। इस पर याचिकाकर्ताओं की ओर से अधिवक्ता डॉ. पुष्पेन्द्रसिंह भाटी ने कहा कि प्रदेश में इस समय 8 लाख से अधिक बीएड व एसटीसी उत्तीर्ण अभ्यर्थी बेरोजगार बैठे हैं। सरकार नियमानुसार हर वर्ष न तो आरटेट करवा रही है व न ही हर वर्ष अध्यापक भर्ती का आयोजन कर रही है।
यदि आरटेट उत्तीर्ण को ही भर्ती परीक्षा के योग्य माना गया है तो एक पद के लिए सिर्फ 5 अभ्यर्थी के बीच में मुकाबला होगा, जब कि आरजेएस व आरएएस जैसी परीक्षाओं में एक पद के लिए सत्तर से सौ अभ्यर्थी तक परीक्षा में आवेदन करने योग्य होते हैं। राज्य सरकार की ओर से अतिरिक्त महाअधिवक्ता जीआर पूनिया तथा याचिकाकर्ताओं की ओर से कैलाश जांगीड़ व तंवरसिंह राठौड़ ने बहस की।
News : Bhaskar.com ( 8.5.12)
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